Newsindia live,Digital Desk: An Untold Story of Politics: बिहार की राजनीति किस्सों और कहानियों से भरी पड़ी है। यहां कब कौन दोस्त बन जाए और कब दुश्मन, कहना मुश्किल है। लेकिन इन सियासी दांव-पेंच के बीच कुछ कहानियां ऐसी भी हैं, जो हमेशा याद रखी जाती हैं। ऐसी ही एक कहानी है बाहुबली नेता पप्पू यादव, लालू प्रसाद यादव और उनकी बेटी मीसा भारती से जुड़ी हुई। यह वह दौर था जब पप्पू यादव की तूती बोलती थी और लालू यादव बिहार की राजनीति के सबसे बड़े ध्रुव थे।यह किस्सा पप्पू यादव की आत्मकथा 'द्रोहकाल का पथिक' से निकला है, जिसमें उन्होंने खुद इस बात का जिक्र किया है कि वह लालू यादव की सबसे बड़ी बेटी मीसा भारती से शादी करना चाहते थे।जब मीसा पर आया पप्पू यादव का दिलबात उन दिनों की है, जब मीसा भारती पटना मेडिकल कॉलेज में पढ़ाई कर रही थीं। उसी दौरान पप्पू यादव की नजर उन पर पड़ी और वह उन्हें अपना दिल दे बैठे। पप्पू यादव ने फैसला कर लिया कि वह मीसा से ही शादी करेंगे। लेकिन उस समय लालू यादव से सीधे बात करने की हिम्मत शायद ही किसी में थी। ऐसे में पप्पू यादव ने एक रास्ता निकाला।'मैसेंजर' बनकर पहुंचे थे रंजन यादवपप्पू यादव ने अपनी बात लालू यादव तक पहुंचाने के लिए उस समय के अपने करीबी और लालू यादव के भी खास माने जाने वाले रंजन यादव को चुना। रंजन यादव को पप्पू यादव ने लालू जी के पास अपना रिश्ता लेकर भेजा। जब रंजन यादव, लालू प्रसाद यादव के पास पहुंचे और उनसे कहा, "पप्पू, आपकी बेटी मीसा से शादी करना चाहता है।"लालू यादव का वो जवाब जो हमेशा के लिए याद रह गयालालू प्रसाद यादव अपनी हाजिरजवाबी और ठेठ देसी अंदाज के लिए जाने जाते हैं। उन्होंने रंजन यादव की पूरी बात बड़े ध्यान से सुनी और फिर अपने उसी चिर-परिचित अंदाज में जो जवाब दिया, उसने एक झटके में ही इस कहानी पर पूर्णविराम लगा दिया।लालू यादव ने रंजन यादव से कहा, "देखिए, हम यादव... और पप्पू भी यादव... यह शादी कैसे होगी?"दरअसल, लालू यादव अपनी बेटियों की शादी यादव जाति से बाहर करना चाहते थे, जैसा कि उन्होंने आगे किया भी। उनका मानना था कि अपनी जाति में तो हर कोई बेटी देता है, लेकिन असली सियासत तब है जब दूसरी जातियों में रिश्ते जोड़े जाएं। उनका एक ही जवाब था कि वह अपनी बेटी की शादी यादव लड़के से नहीं करेंगे।बस! लालू जी का यह एक जवाब ही काफी था। रंजन यादव खाली हाथ लौट आए और पप्पू यादव का लालू का दामाद बनने का सपना हमेशा के लिए अधूरा रह गया। बाद में मीसा भारती की शादी एक कंप्यूटर इंजीनियर शैलेश कुमार से हुई। यह किस्सा आज भी बिहार के राजनीतिक गलियारों में मुस्कुराते हुए सुनाया और सुना जाता है।
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