कभी उत्तर प्रदेश की पहचान कुछ और हुआ करती थी,लेकिन आज इसकी पहचान बदल रही है। यह प्रदेश अब देश का'एक्सप्रेसवे प्रदेश'बन चुका है। यूपी आज भारत का इकलौता ऐसा राज्य है,जहाँ13शानदार एक्सप्रेसवे का जाल बिछा हुआ है,जिनकी कुल लंबाई3,200किलोमीटर है। लेकिन यह तो बस शुरुआत है।अब योगी सरकार ने प्रदेश के विकास को एक नई उड़ान देने के लिए20,000करोड़ रुपये से भी ज़्यादा की लागत से9और नए एक्सप्रेसवेबनाने को हरी झंडी दे दी है। इन नए एक्सप्रेसवे के बन जाने से यूपी का सफर और भी आसान और तेज हो जाएगा,जिससे व्यापार,खेती-किसानी और पर्यटन को नए पंख लगेंगे।यूपी की सड़कों का नया नक्शा: ये हैं9नए एक्सप्रेसवेये नए एक्सप्रेसवे प्रदेश के हर कोने को एक-दूसरे से जोड़ देंगे। देखिए कौन सा एक्सप्रेसवे आपके शहर के पास से गुज़रेगा:गोरखपुर-सिलीगुड़ी एक्सप्रेसवे (519किमी):यह सिर्फ यूपी को ही नहीं,बल्कि बिहार और पश्चिम बंगाल को भी जोड़ेगा। इससे व्यापार और पूर्वोत्तर भारत तक पहुंच आसान हो जाएगी।विंध्य एक्सप्रेसवे (320 किमी):यह एक्सप्रेसवे प्रयागराज और मिर्ज़ापुर जैसे विंध्य क्षेत्र के जिलों को सीधे छत्तीसगढ़ और झारखंड से जोड़ेगा,जिससे इस इलाके में विकास की नई धारा बहेगी।झांसी-जालौन लिंक एक्सप्रेसवे (118.90किमी):यह बुंदेलखंड की किस्मत बदलने वाला एक्सप्रेसवे है। इससे झांसी और कानपुर के बीच बनने वाले औद्योगिक शहर को सीधी कनेक्टिविटी मिलेगी।फर्रुखाबाद लिंक एक्सप्रेसवे (90.84किमी):यह एक्सप्रेसवे फर्रुखाबाद को गंगा एक्सप्रेसवे और आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे से जोड़ेगा,जिससे किसानों और व्यापारियों को बड़ा फायदा होगा।मेरठ-हरिद्वार एक्सप्रेसवे (120किमी):दिल्ली से हरिद्वार का सफर अब घंटों का नहीं,मिनटों का खेल होगा। इस एक्सप्रेसवे के बनने से5-6घंटे का सफर घटकर सिर्फ3घंटे का रह जाएगा।जेवर लिंक एक्सप्रेसवे (74.30किमी):यह नोएडा के इंटरनेशनल एयरपोर्ट को यमुना एक्सप्रेसवे और दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे से जोड़ेगा,जिससे एयरपोर्ट तक पहुंचना बेहद आसान हो जाएगा।चित्रकूट से रीवा एक्सप्रेसवे (70किमी):यह यूपी के चित्रकूट को मध्य प्रदेश के रीवा से जोड़ेगा। इससे चित्रकूट आने वाले श्रद्धालुओं का सफर सुगम होगा।लखनऊ लिंक एक्सप्रेसवे (49.96किमी):आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे को पूर्वांचल एक्सप्रेसवे से जोड़ने वाली यह सड़क3Dऑटोमेटिक मशीन-गाइडेड सिस्टम से बनाई गई है,जो भारत में एक नई तकनीक है।इन सभी एक्सप्रेसवे के बन जाने के बाद उत्तर प्रदेश का कुल एक्सप्रेसवे नेटवर्क4,374किलोमीटरका हो जाएगा,जो अपने आप में एक कीर्तिमान होगा। यह सिर्फ तारकोल की सड़कें नहीं,बल्कि उत्तर प्रदेश की तरक्की के वो रास्ते हैं,जो आने वाले समय में लाखों लोगों की ज़िंदगी बदलने वाले हैं।
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