मुंबई: बॉम्बे हाईकोर्ट ने गणेशोत्सव और दुर्गा पूजा के पर्व से पहले बड़ा आदेश दिया है। बॉम्बे हाईकोर्ट ने कहा है कि प्लास्टर ऑफ पेरिस (POP) से बनी 6 फीट तक ऊंची मूर्तियों को कृत्रिम तालाबों और जल कुंडों में विसर्जन किया जाए। बॉम्बे हाईकोर्ट ने कहा है कि यह आदेश उन सभी उत्सवों पर लागू होगा। जिनमें प्लास्टर ऑफ पेरिस की बनी मूर्तियों का इस्तेमाल होता है। बॉम्बे हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस आलोक अराधे और न्यायमूर्ति संदीप मार्ने की पीठ ने यह आदेश पारित किया। गौरतलब कि मुंबई में बीएमसी ने पांच फीट से कम ऊंचाई वाली 1.95 लाख गणेश मूर्तियों के लिए करीब 204 जल कुंड बनाए हैं। एक अनुमान के अनुसार इनमें करीब 85 हजार मूर्तियों का विर्सजन हो पाएगा। ऐसे में देखना होगा कि बाकी मूर्तियां कहां पर विर्सजन के लिए ले जाई जाएंगी।
27 अगस्त से विराजेंगे बप्पा
बॉम्बे हाईकोर्ट ने गणेशोत्सव और दुर्गा पूजा उत्सव की मूर्तियों के विर्सजन को लेकर सुनवाई करते हुए कहा है कि यह सुनिश्चित करें कि मूर्तियों के विसर्जन का पर्यावरण पर न्यूनतम प्रभाव पड़े। अदालत ने आगे कहा कि इसलिए 6 फीट ऊंची मूर्तियों का विसर्जन अनिवार्य रूप से कृत्रिम जलाशयों में ही किया जाना चाहिए। हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से मूर्तियों के विसर्जन संबंधी अपनी नीति का अच्छे ढंग से पालन करने को कहा है। पीठ ने कहा कि सभी स्थानीय निकायों को यह सुनिश्चित करना होगा कि छह फीट ऊंची मूर्तियों का विसर्जन कृत्रिम जलाशयों में किया जाए।
हाईकोर्ट की पीठ ने जताई थी चिंता
इससे पहले बॉम्बे हाईकोर्ट ने सरकार से कहा था कि ऊंची गणेश मूर्तियों के कृत्रिम विसर्जन का विकल्प तलाश करे। सरकार की तरफ से हाईकोर्ट को बताया गया था कि पांच फीट से ऊंची करीब 7,000 मूर्तियां प्राकृतिक जलस्रोतों में विसर्जन को ले जाई जाएंगी। तब कोर्ट ने टिप्पणी की थी कि सात हजार कोई छोटी संख्या नहीं है। पीठ ने नाराजगी जताते हुए कहा था कि यह आंकड़ा काफी बड़ा है। ऐसे में पर्यावरण के लिए खतरा बन सकता है।
10 फीट से ऊंची कितनी मूर्तियां
कोर्ट ने पूछा था कि आप कम से कम 7 से आठ फीट तक मूर्तियो का विर्सजन कृत्रिम टैंकों में क्यो नहीं कर सकते? तब सरकार ने कहा था कि बड़ी मूर्ति काफी ज्यादा जगह घेर लेती है। सरकार ने बताया था कि 3,869 मूर्तियां पांच से 10 फीट के बीच की हैं जबकि 3900 मूर्तियां 10 फीट से बड़ी हैं। अब हाईकोर्ट ने 6 फीट की सीमा तय की है। मुंबई और महाराष्ट्र में गणेशोत्सव अगस्त में शुरू होगा। इस साल गणेशोत्सव 27 अगस्त से शुरू होगा। यह 10 दिनों तक चलेगा।
27 अगस्त से विराजेंगे बप्पा
बॉम्बे हाईकोर्ट ने गणेशोत्सव और दुर्गा पूजा उत्सव की मूर्तियों के विर्सजन को लेकर सुनवाई करते हुए कहा है कि यह सुनिश्चित करें कि मूर्तियों के विसर्जन का पर्यावरण पर न्यूनतम प्रभाव पड़े। अदालत ने आगे कहा कि इसलिए 6 फीट ऊंची मूर्तियों का विसर्जन अनिवार्य रूप से कृत्रिम जलाशयों में ही किया जाना चाहिए। हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से मूर्तियों के विसर्जन संबंधी अपनी नीति का अच्छे ढंग से पालन करने को कहा है। पीठ ने कहा कि सभी स्थानीय निकायों को यह सुनिश्चित करना होगा कि छह फीट ऊंची मूर्तियों का विसर्जन कृत्रिम जलाशयों में किया जाए।
हाईकोर्ट की पीठ ने जताई थी चिंता
इससे पहले बॉम्बे हाईकोर्ट ने सरकार से कहा था कि ऊंची गणेश मूर्तियों के कृत्रिम विसर्जन का विकल्प तलाश करे। सरकार की तरफ से हाईकोर्ट को बताया गया था कि पांच फीट से ऊंची करीब 7,000 मूर्तियां प्राकृतिक जलस्रोतों में विसर्जन को ले जाई जाएंगी। तब कोर्ट ने टिप्पणी की थी कि सात हजार कोई छोटी संख्या नहीं है। पीठ ने नाराजगी जताते हुए कहा था कि यह आंकड़ा काफी बड़ा है। ऐसे में पर्यावरण के लिए खतरा बन सकता है।
10 फीट से ऊंची कितनी मूर्तियां
कोर्ट ने पूछा था कि आप कम से कम 7 से आठ फीट तक मूर्तियो का विर्सजन कृत्रिम टैंकों में क्यो नहीं कर सकते? तब सरकार ने कहा था कि बड़ी मूर्ति काफी ज्यादा जगह घेर लेती है। सरकार ने बताया था कि 3,869 मूर्तियां पांच से 10 फीट के बीच की हैं जबकि 3900 मूर्तियां 10 फीट से बड़ी हैं। अब हाईकोर्ट ने 6 फीट की सीमा तय की है। मुंबई और महाराष्ट्र में गणेशोत्सव अगस्त में शुरू होगा। इस साल गणेशोत्सव 27 अगस्त से शुरू होगा। यह 10 दिनों तक चलेगा।
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